गुजराती मटकों की आगरा में जमकर हो रही बिक्री
गरीबों का फ्रिज कहे जाने वाले मटके जो की हर कोई चाह रखता है की गर्मी में मटके का शुद्ध और ठंडा पानी पीने को मिले , ताजनगरी आगरा के कुम्हार यहां तरह तरह के मटके तैयार करते हैं और वही कुछ मटके राजस्थान और गुजरात से भी बिक्री के लिए आते हैं , राजस्थानी मटके अपनी राजस्थानी कला को दर्शाते हैं तो वहीं गुजराती मटके गुजरात की कला को दर्शाते हैं जिन पर रंग बिरंगी पेंटिंग की जाती है खास बात ये है की गुजरात के मटके कुम्हारों के नाम से बिकते हैं किसी मटके का नाम पप्पू होता है तो किसी मटके का नाम प्रमोद होता है।
दुकानदार का कहना है गुजरात के पप्पू नाम के कुम्हार से जो मटके आते हैं उनका नाम पप्पू होता है और जो प्रमोद नाम के कुम्हार से आते हैं उनका नाम प्रमोद होता है जिससे माल बेचने में भी आसानी रहती है ।
गर्मी में मटके की बिक्री में इज़ाफा देखने को मिल रहा है जिसमे गुजराती मटके गिरहकों की पहली पसंद बने हुए हैं।